बोल के लव आजाद हैं तेरे , बोल जबा अब तक तेरी है ।।।।।
आज मनुष्य स्वतंत्र होने में डरता है क्योंकि स्वतंत्र मनुष्य की कुछ जिम्मेदारी होती है और जो इन जिम्मेदारी को नही निभाना चाहिता बो अपनी स्वतंत्रता का सौदा करता है और अपना दायित्व वह दुसरो के हाथो में बेच कर अपनी दुनिया में निश्चित हो जाता है और इस प्रकार एक स्वतंत्र व्यक्ति भी गुलाम हो जाता है जो लोग आज जॉब से अपना जीवन सेव समझ रहे है बो अपनी रचनात्मक प्रतिभा को खो रहे है जय हिन्द।।।।।
आज मनुष्य स्वतंत्र होने में डरता है क्योंकि स्वतंत्र मनुष्य की कुछ जिम्मेदारी होती है और जो इन जिम्मेदारी को नही निभाना चाहिता बो अपनी स्वतंत्रता का सौदा करता है और अपना दायित्व वह दुसरो के हाथो में बेच कर अपनी दुनिया में निश्चित हो जाता है और इस प्रकार एक स्वतंत्र व्यक्ति भी गुलाम हो जाता है जो लोग आज जॉब से अपना जीवन सेव समझ रहे है बो अपनी रचनात्मक प्रतिभा को खो रहे है जय हिन्द।।।।।
Sahi bat he bhai
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