टंट्या भील [ इंडियन रोबिंहुड ] का नाम सबसे बड़े व्यक्ति के रुप मे लिया जाता है वे बड़े योद्दा थे । आज भी बहुत आदिवासी घरो मे टंट्या भील कि पुजा कि जाती है,कहा जाता है कि टंट्या भील को सभी जानवरो कि भाषा आती थी, टंट्या भील के आदिवासीयों ने देवता कि तरह माना था, आदिवासी जन आज भी कहते है,कि टंट्या भील को अलओकिक शक्ति प्राप्त थी, इन्ही शक्तियों के सहारे टंट्या भील एक ही समय 1700 गाँवो मे ग्राम सभा लिया करते थे,इन्ही शक्तियो के कारण अंग्रेजों के 2000 सैनिको के द्वारा भी टंट्या भील को कोई पकड़ नही पाता था । टंट्या भील देखते ही देखते अंग्रेजों के आँखो के साम्नने से ओझल हो जाते थे। कहा जाता है, कि टंट्या भील लाखो आदिवासी झगड़ो को ग्रामसभा मे ही हल किया कर देते थे,टंट्या भील , इनके पिता जी का नाम भाऊ सिंह भील था ।
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